पटना. नौबतपुर के तरेत पाली मठ में पंडित धीरेंद्र शास्त्री के द्वारा हनुमंत कथा सुनाया जा रहा है. पहला दिन संपन्न रहा और आज दुरण दिन है. पहले दिन के कथावाचन में सुंदर कांड का पाठ किया गया. इस दौरान बागेश्वर धाम का जुनून इतना की पूरा बिहार बाबामय हो गया है. कथा का समय होते होते भीड़ इतनी हो गई कि 3 लाख वर्गफीट में बना पंडाल भी छोटा पड़ गया. तस्वीरों के जरिए देखिए लोगों की उत्सुकता. 1. कथा वाचन के लिए तय समय पर जैसे ही बाबा होटल से निकले, बाहर इंतजार कर रहे भक्तों ने उनकी गाड़ी को चारों ओर से घेर दिया. एक झलक पाने की उत्सुकता में लोग व्याकुल हो रहे थे. बाबा ने बाहर निकल कर सभी को आशीर्वाद दिया. इस दौरान भीड़ में से किसी ने बिहारी सम्मान का प्रतीक गमछा पकड़ाया तो बाबा ने उसे अपने गले में लपेट लिया. 2. लगभग 25 किमी का सफर करने के बाद बाबा मंच पर पहुंचे और पंडाल में बैठे लाखों लोगों को हाथ जोड़कर प्रणाम किया. इस दौरान पूरा पंडाल बाबा और जय श्री राम के जयकारों से गूंज उठा. आरती होने के बाद कथा की शुरुआत हुई. पहले दिन हनुमंत कथा का पाठ किया गया. 3. कथा सुनने के लिए अलग-अलग तरह के लोग पहुंचे हुए थे. एक शख्स तो करीब 10 फीट के बांस में जय श्री राम का झंडा लगाए पहुंचे थे, तो वहीं कोई अपने बेटे के साथ तो कोई अपने घरवालों के साथ आया हुआ था. सबकी आस बस बाबा को देखने की थी. 4. कथा का समय होते-होते भीड़ इतनी हो गई कि 3 लाख वर्गफीट में बना पंडाल भी छोटा पड़ गया. भीड़ को संभालते में आयोजकों और प्रशासन के पसीने छूट गए. पहले दिन कथा में करीब 2 से 3 लाख लोगों के जुटे होने का अनुमान था. 5. बना को सुनने के लिए साधु-संत भी पहुंचे हुए थे. अलग-अलग जगहों से आए साधु-संतों के लिए मंच के बगल में ही स्थान दिया गया था. जहां से उन्होंने कथा सुना. साथ ही कथा शुरू होने से पहले शंख बजाकर शुरुआत की. 6. पूरे कथा के दौरान भक्त झूमते हुए दिखाई दिए. बाबा की भक्ति गीतों पर लोग पूरा मग्न थे. ऐसा लग रहा था पूरा पंडाल बाबा मय हो गया था. तालियां बजाते और खुशी से भजन पर झूमते देख बाबा भी गदगद हो उठे.
Articles